स्वतंत्रता सेनानियों के स्वप्निल हिंद का निर्माण करेंगे परिजन -कुमार पटेल

.डॉ. अतुल कुमार

नई दिल्ली। अखिल भारतीय स्वतंत्रता सेनानी व शहीद परिवार कल्याण महापरिषद् के राष्ट्रीय महासचिव कुमार पटेल ने कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों के अतुलनीय त्याग व बलिदान से देश को दासता से मुक्ति मिली। अब देशभक्ति के जुनून के साथ देश के लिए के मर-मिटने वालों के परिजनों ने अपने पूर्वजो के सपनों के भारत को बनाना तय किया है। महापरिषद् की महिला प्रकोष्ठ अध्यक्ष व राष्ट्रीय संयोजक डॉ. इंदिरा मिश्रा ने कहा कि जब कोड़ों की मार क्रांतिकारियों पर हो रही धी तो कराह की जगह वंदे मातरम् और भारत माता की जय की गूंज होती। अब उनके परिवार वाले राष्ट्रहित व राष्ट्र नवनिर्माण के लिए कृतबद्ध हैं। वार्षिक बैठक में महापरिषद् की भूमिका निर्धारित की जाएगी जो शहीदों और सेनानियों के सपनों को पूरा करेगी।
उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय जनगणना में भी अलग से स्वतंत्रता सेनानी परिवारों की गणना की जाना आवश्यक है, ताकि देश में सेनानियों से जुड़े परिवारों की पहचान हो सके। उन्होंने विश्वास जताया कि महापरिषद् के सदस्य स्वतंत्रता सेनानियों के उत्तराधिकारियों के साथ कंधे से कंधे मिला कर राष्ट्र निर्माण की भूमिका में सक्रिय भूमिका निभाएंगे।
पत्रकार वार्ता में राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं स्वाधीनता सेनानी डॉ. प्रहलाद प्रजापति, स्वाधीनता सेनानी नन्द किशोर माली ने अपने विचार रखे। संपूर्ण राष्ट्र के शहीद परिवारों के परिजनों को एक सूत्र में बांधने के लिए महापरिषद् ने विभिन्न प्रदेशों में स्वतंत्रता सेनानी एवं शहीद परिवारों की बैठकों के पश्चात् भारत की राजधानी में एक महासम्मेलन का आयोजन किया जाएगा।

महापरिषद् के राष्ट्रीय समन्वयक हरिओम गुप्ता ने कहा कि अखिल भारतीय स्वतंत्रता सेनानी एवं शहीद परिवार कल्याण महापरिषद् की छठी राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में स्वतंत्रता सेनानियों के सपनों का भारत बनाने का संकल्प लिया जाएगा। महापरिषद् ने 30 अगस्त को खुला सत्र का आयोजन कर उसमें राजनैतिक पार्टी, समाजिक, न्यायिक एवं काॅरपोरेट सेक्टर में गणमान्य एवं महत्वपूर्ण हस्तियों को आमंत्रित किया गया है।
महापरिषद् द्वारा आहूत दिल्ली की इस बैठक में हिस्दुस्तान की लगभग दो करोड़ स्वतंत्रता सेनानी परिवारों तथा उत्तराधिकारियों की भूमिका देश के नव निर्माण हेतु सुनिश्चित की जायेगी। संगठन के राष्ट्रीय प्रवक्ता गोपाल नारसन ने बताया कि महापरिषद् देश के लगभग 800 जिलों में स्वतंत्रता सेनानी एवं शहीदों के सपनों का भारत बनाने में लोकतंत्र के स्तम्भों, कार्यपालिका, न्यायपालिका, विधायिका, मीडिया तथा सबसे महत्वपूर्ण पाँचवा अंग निजी उद्योग क्षेत्र के साथ निरन्तर संवाद रखते हुये देश हित में स्वच्छ वातावरण बनाने का कार्य कर रहा है। भारत सरकार एवं विभिन्न प्रदेशों की राज्य सरकारें से महापरिषद् के माध्यम से अनुरोध करना है कि अखिल भारतीय स्ववंत्रता सेनानीय एवं शहीद परिवार कल्याण महापरिषद् को संवैधानिक दर्जा दिया जाय।

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